monsoon vegetable price increase : टमाटर 100 रुपये किलो और आलू 50 रुपये, जानें अन्य सब्जियों की स्थिति,छू रहा आसमान
monsoon vegetable price increase: मानसून के आगमन के साथ, कई राज्यों में बाढ़ के कारण सब्जियों की कीमतें बढ़ गई हैं। इन दिनों हरियाणा में सब्जियों के दाम भी आसमान छू रहे हैं. प्याज, टमाटर, लहसुन (onion, tomato, garlic) और हरी मिर्च के दाम लगातार बढ़ रहे हैं. सब्जियों के दाम बढ़ने से रसोई में मसालों की महक भी कम हो गई है.
सब्जियों की बढ़ती कीमतों ने घर का बजट बिगाड़ दिया है, लोग इससे परेशान हैं. 20 रुपये प्रति किलो बिकने वाला टमाटर 140-150 रुपये प्रति किलो की दर से बिक रहा है. कुछ दिन पहले प्याज 20 रुपये प्रति किलो था जो अब 60-70 रुपये प्रति किलो तक पहुंच गया है.
वहीं, सब्जियों के राजा आलू की कीमत भी बढ़ गई है. बाजार में इसकी कीमत 20-50 रुपये प्रति किलो तक पहुंच गई है. पत्तागोभी 40-80 रुपये प्रति किलो, हरी मिर्च 60 रुपये से बढ़कर 120 रुपये प्रति किलो हो गयी है. लौकी 20 रुपये से बढ़कर 60 रुपये हो गयी है. सब्जियों में स्वाद बढ़ाने वाले धनिया और अदरक के दाम भी दोगुने से ज्यादा हो गए हैं.
सब्जी विक्रेता खालिद के मुताबिक, मौसम की वजह से पिछले 15 दिनों से लगातार दाम बढ़ रहे हैं. आने वाले समय में सब्जियों के दाम और बढ़ने की संभावना है, क्योंकि बरसात के मौसम में सब्जियों की फसल में फूल झड़ जाते हैं. इससे सब्जियों का उत्पादन कम हो जाता है. उत्पादन कम होने से कीमतें बढ़ी हैं.
सब्जी विक्रेता मुश्ताक का कहना है कि सब्जियों के दाम बढ़ने से कारोबार पर असर पड़ रहा है. महंगाई के कारण गरीब आदमी सब्जी कम खरीद रहा है। रोजाना 300 रुपये कमाने वाला व्यक्ति इतनी महंगी सब्जियां कैसे खरीद सकता है?
दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में फलों और सब्जियों की प्रमुख आपूर्तिकर्ता मदर डेयरी अपने खुदरा आउटलेट ‘सफल’ पर 75 रुपये प्रति किलोग्राम पर टमाटर बेच रही है। स्थानीय सब्जी विक्रेता टमाटर 70-80 रुपये प्रति किलो बेच रहे हैं.
मदर डेयरी के प्रवक्ता ने शुक्रवार को कहा, ‘पहाड़ी इलाकों के प्रमुख टमाटर उत्पादक क्षेत्रों में हाल ही में पड़ी गर्मी के कारण इस फसल की पैदावार प्रभावित हुई है. कम पैदावार के कारण, खुदरा बाजारों में टमाटर की आपूर्ति सीमित हो गई है और कीमतें बाद में बढ़ गई हैं।