MP news, स्वस्थ सागठनों के विरोध में आने से “अस्पताल बचावा जिउ बचावा” आंदोलन होगा मजबूत।
MP news, स्वस्थ सागठनों के विरोध में आने से “अस्पताल बचावा जिउ बचावा” आंदोलन होगा मजबूत।
प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाओं के निजीकरण के खिलाफ एकजुट हुए स्वास्थ्य संगठन।
विराट वसुंधरा/ दीपक द्विवेदी
सीधी। जहाँ प्रदेश सरकार द्वारा प्रदेश की स्वस्थ सेवाओं कों निजी हाथों में देनें का विरोध जनसगठनों एवं जनता द्वारा किया जा रहा है वहीं अब सरकार के इस जन विरोधी फैसले का विरोध प्रदेश के विभिन्न स्वस्थ सगठन भी करने का निर्णय किए है 27 नबम्बर 2024 कों प्रदेश के स्वस्थ कर्मचारी सगठनों नें बैठक कर भोपाल से एक प्रेस विज्ञप्ति जारी करते हुए कहा है की हम प्रदेश की स्वस्थ सेवाओं के निजीकरण का विरोध करते है। हम किसी भी प्रकार के पीपीपी माॅडल या आउटसोर्सिंग का विरोध करते हैं जो स्वास्थ्य सेवाओं कों निजीकरण की ओर ले जा सकता है। इसके बजाय हम सरकार से सभी हितधारकों को बुलाने और अपनी
सार्वजनिक स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर बनाने पर चर्चा करने की वकालत करते हैं। यह सुनिश्चित करते हुए कि वे सरकारी नियंत्रण में रहें। यह स्वास्थ्य प्रशासन को बढ़ाने और स्वास्थ्य संकेतकों को बेहतर बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है जो सरकार की जवाबदेही है।
विभिन्न स्वस्थ संगठनों के प्रतिनिधि जो बैठक में उपस्थित रहे डॉ. राकेश मालवीया (अध्यक्ष, एमपीएमटीए-एमपी मेडिकल टीचर्स एसोसिएशन और मुख्य संयोजक, शासकीय स्वायत्तशासी चिकित्सा अधिकारी संघ), डॉ. माधव हासानी (अध्यक्ष, एमपीएमओए-एमपी मेडिकल ऑफिसर्स एसोसिएशन और संयोजक, शासकीय स्वायत्तशासीचिकित्सामहासंघ) डॉ. गजेंद्र नाथ कौशल (संयुक्त सचिव, ईएसआई चिकित्सा अधिकारी ), डॉ. महेश कुमार (राज्य अध्यक्ष, चिकित्सा अधिकारी चिकित्सा शिक्षा), डॉ सिद्धार्थ कीमती, मध्य प्रदेश जूनियर डॉक्टर्स एसोसिएशन , मनोरमा , मध्य प्रदेश नर्सिंग ऑफिसर एसोसिएशन, डॉ लोकेश रघुवंशी स्टेट प्रेसिडेंट कॉन्ट्रैक्चुअल डॉक्टर्स एसोसिएशन, राजकुमार सिन्हा राष्ट्रीय स्वास्थ्य अधिकार अभियान,एस. आर. आजाद (प्रदेश संयोजक जन स्वास्थ्य अभियान), डॉ. लोकेश रघुवंशी, प्रदेश (अध्यक्ष, संविदा चिकित्सक संघ), लक्ष्मी कौरव, (राज्य अध्यक्ष, एमपी आशा/आशा सहयोगिनी श्रमिक संघ), अमूल्य निधि (राष्ट्रीय सह संयोजक जन स्वास्थ्य अभियान।