सीधी जिले के बहरी मे कोयला कारोबारी ने लोकायुक्त एसपी के नाम पर मचा रखा है तांडव। लोकायुक्त एसपी का नाम सुनकर कार्यवाही करने की हिम्मत नहीं जुटा पा रहा है प्रशासन।

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सीधी जिले के बहरी मे कोयला कारोबारी ने लोकायुक्त एसपी के नाम पर मचा रखा है तांडव।

लोकायुक्त एसपी का नाम सुनकर कार्यवाही करने की हिम्मत नहीं जुटा पा रहा है प्रशासन।

 

विराट वसुंधरा सीधी-
कोयले का अवैध कारोबार इन दिनों जिले मे जोरो से चल रहा है इसका प्रमुख ठिकाना बहरी थानान्तर्गत हाईवे मार्ग पर संचालित दो जगहों पर देखा गया है। जहां सिंगरौली से कोयले के ओव्हर लोड वाहनो को औने-पौने दाम में खाली कराकर बड़ा खेल खेला जा रहा है।

सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार बहरी हाईवे मार्ग पर संचालित एक सक्सेना नामक व्यक्ति द्वारा इस कारोबार को बड़े पैमाने स्तर पर किया जा रहा है। जिसके द्वारा खुद को कानूनी दांव पेंच से बचने के लिए लोकायुक्त एसपी गोपाल धाकड़ का नाम लेकर यह पूरा कारोबार किया जा रहा है। जबकि इस संबंध में जब लोकायुक्त एसपी गोपाल धाकड़ से दूरभाष पर जानकारी चाही गई तो उन्होने साफ तौर पर किसी भी प्रकार के कोई कारोबार में अपनी संलिप्तता न होना बताया है। इतना ही नही उन्होने यह भी कहा है कि अगर मेरे नाम पर यह कार्य किसी व्यक्ति द्वारा किया जा रहा है तो मैं संबंधित थाने के थाना प्रभारी से बात करके उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई करूंगा। हैरानी की बात तो यह है कि तथाकथित सक्सेना द्वारा यह कारोबार बीते दो वर्ष से किया जा रहा है जिसके द्वारा पुलिस व खनिज के आला अधिकारियों को लोकायुक्त एसपी गोपाल धाकड़ की पार्टनरी का धौंस बताकर बच निकल रहा था। लोकायुक्त एसपी का नाम सुनकर प्रशासन कोयला कारोबारी के बारे मे किसी भी प्रकार की छानबीन नही की जा रही थी और वह मनमानी तौर पर यह काला कारोबार जोरो से करता आ रहा है,लोकायुक्त एसपी गोपाल धाकड़ से जब दूरभाष से जानकारी ली गई तो उन्होने चौकाने वाला खुलाशा किया है।

खनिज सहित पुलिस की भूमिका संदिग्ध-

इस कोयला के अवैध कारोबार में खनिज अमला सहित पुलिस की भी संलिप्ता नजर सामने आ रही है,वहीं साथ ही खनिज विभाग की संलिप्तता के प्रमाण भी सामने आए है। सूत्रों की माने तो खनिज विभाग के एक बाबू के करीबी द्वारा बहरी में सक्सेना के अलावा पृथक से कोयले का अवैध कारोबार किया जा रहा है। हलाकि भंडारण की अनुमति उनके द्वारा ली गई है लेकिन कागजी कार्यवाही में विभाग का सहयोग मिलने के चलते ही बड़ा खेल किया जा रहा है। सूत्र तो यह भी बताते है कि यहां इन दो के अलावा भी कोयले का कारोबार स्थानीय लोगों द्वारा भी किया जा रहा है लेकिन इनके खिलाफ विभाग द्वारा आज तक कोई कार्रवाई नही की गई है।

लोकायुक्त एसपी के नाम से खेला जा रहा है खेल-

बहरी में हाईवे मार्ग पर संचालित तथाकथित एक सक्सेना नामक कोयला व्यापारी द्वारा पुलिस व खनिज विभाग में अपनी धाक जमाने के लिए लोकायुक्त एसपी का नाम लेकर इस काला कारोबार को किया जा रहा है। जबकि लोकायुक्त एसपी गोपाल धाकड़ की माने तो उनका इस पूरे काला कारोबार में कोई दूर-दूर तक कोई वास्ता नही है। ऐसे में यह साफ हो गया है कि कोयला कारोबारी सक्सेना द्वारा स्थानीय पुलिस एवं खनिज के साथ-साथ अन्य वरिष्ठ अधिकारियों को गुमराह करने के लिए लोकायुक्त एसपी का नाम लेकर धड़ल्ले से इस अवैध कारोबार को संचालित कर रखा है।

वाहनों का नहीं किया जाता है वजन:-

सिंगरौली जिले से कोयला सीधी सहित अन्य दूर दराज के कई जिलो में जाता है। अल्ट्राटेक कंपनी बघवार सहित सतना, रीवा, मैहर,कटनी व अन्य स्थानों पर संचालित कंपनियों के द्वारा कोयला कंपनी से अनुबंध की हैं। जिसके तहत सिंगरौली से कोयले का परिवहन किया जाता है। किंतु कंपनी के द्वारा कोयले से लोड वाहनो का वजन नहीं किया जाता है,जिसका फायदा उठाते हुए वाहन चालक कोयले की चोरी कर रहे हैं। इन वाहन चालकों से बहरी में संचालित कोयला कारोबारियों द्वारा औने-पौने दामों में कोयला खाली कर दिया जाता है ऐसा नही है कि इस पूरे मामले की जानकारी खनिज विभाग व स्थानीय पुलिस को नही है बावजूद इसके लोकायुक्त एसपी का नाम सुनकर इस कारोबारी के ऊपर कार्यवाही करने की हिम्मत नहीं जुटा पा रहे हैं।

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